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उपायुक्त महिमापत रे ने प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के तहत जिले की छह गैस एजेंसियों से स्पष्टीकरण मांगा है। एजेंसी ने लाभुकों का शत-फीसद केवाइसी जेनरेट नहीं किया है। इन छह एजेंसियों में उराव गैस एजेंसी, भारत गैस एजेंसी, एचपी गैस एजेंसी, भारत गैस एजेंसी, ग्लोबल गैस एजेंसी, और इंडियन गैस एजेंसी शामिल हैं। उन्हें निर्देश दिया गया है कि अगर दो दिनों के अंदर स्थिति में सुधार नहीं हुआ तो एनओसी रद काली सूची में डाली जाएंगी।
उज्ज्वला योजना के तहत 90 हजार आवेदन दिए गए थे। लेकिन, गैस एजेंसियों ने महज 40 हजार केवाइसी ही जेनरेट किए। अभी 50 हजार आवेदन पेंडिंग हैं। प्रतिष्ठान को सीलबंद करने की कार्रवाई भी होगी। दरअसलउज्ज्वला योजना के तहत इन गैस एजेंसियों को पर्याप्त संख्या में आवेदन दिया गया था। लेकिन, आपके स्तर से केवाइसी जेनरेट की गति बेहद धीमी रही। इस कारण अब लक्ष्य प्राप्ति पर इसका असर देखने को मिल रहा है।
डीसी राय महिमापत रे के निर्देश पर शनिवार को उज्ज्वला योजना को लेकर गैस एजेंसिंयों के साथ एसओआर शशि भूषण मेहरा और डीएसओ नागेंद्र प्रसाद गुप्ता ने बैठक की गई। जून महीने में 50 हजार लाभुकों के बीच उज्वला योजना के तहत गैस चूल्हा व सिज्लेंडर वितरण का लक्ष्य रखा गया है। इसमें उज्ज्वला योजना के जिला नोडल पदाधिकारी चंद्रमणि व शहरी व ग्रामीण गैस एजेंसी के वितरक शामिल हुए। सभी गैस एजेंसियों को अगले सप्ताह तक 100 प्रतिशत केवाइसी पूर्ण करने का निर्देश दिया गया है। मालूम हो कि राची जिले में 1.69 लाख लाभुकों को उज्ज्वला योजना से जोड़ना है। इनमें 1.23 लाख केवाइसी हो गए हैं।