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चुनाव आयोग ने गुजरात में सत्ताधारी भाजपा को इलेक्ट्रानिक प्रचार में ‘पप्पू’ शब्द का इस्तेमाल करने से रोक दिया है। यह शब्द कांग्रेस के उपाध्यक्ष राहुल गांधी के लिए इस्तेमाल किया जाता है। आयोग ने इसे आपत्तिजनक कहा है।
-चुनाव आयोग ने आपत्तिजनक मानते हुए लगाई रोक
आयोग के इस कदम की पुष्टि करते हुए भाजपा सूत्रों ने मंगलवार को कहा कि प्रचार सामग्री में किसी शब्द का किसी व्यक्ति से संबंध नहीं है। गुजरात के मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने पिछले महीने पार्टी द्वारा सौंपी गई प्रचार सामग्री में इस शब्द पर आपत्ति जताई है।
भाजपा के एक वरिष्ठ नेता ने कहा, ‘चुनाव से संबंधित कोई भी प्रचार सामग्री तैयार करने से पहले इसे समिति को सौंपना होता है। समिति उसका प्रमाणपत्र देती है। हालांकि समिति ने पप्पू शब्द पर आपत्ति जताई है क्योंकि इसे अपमानजनक माना है। समिति ने हमसे इसे हटाने या उसकी जगह दूसरे शब्द का इस्तेमाल करने के लिए कहा है।’ उन्होंने कहा कि पार्टी इस शब्द को हटाकर दूसरी स्क्रिप्ट चुनाव आयोग को सौंपेगी। पप्पू शब्द का किसी व्यक्ति विशेष से जुड़ा नहीं होने का पक्ष रखते हुए फैसले पर विचार करने के लिए कहा था। लेकिन उन्होंने इसे नामंजूर कर दिया।
गुजरात में तीन निर्दलीय प्रत्याशियों ने पर्चा भरा
चुनाव आयोग द्वारा पहले चरण के चुनाव के लिए अधिसूचना जारी होने के बाद मंगलवार को तीन निर्दलीय प्रत्याशियों ने पर्चा भरा है। राज्य में दो चरणों में नौ और 14 दिसंबर को चुनाव कराए जाएंगे और 18 दिसंबर को मतगणना होगी।