दिल्ली मेट्रो की सौर ऊर्जा मुहिम पूरी दुनिया में छाई

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(HT)

दिल्ली मेट्रो की सौर ऊर्जा पहल को वैश्विक मंच पर सराहना मिली है। संयुक्त राष्ट्र फ्रे मवर्क कन्वेंशन ऑन जलवायु परिवर्तन (यूएनएफसीसीसी) ने इसे दुनिया के पहले क्लीन डेवलपमेंट मेकनिज्म (सीडीएम) के तौर पर पंजीकृत किया है।

दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (डीएमआरसी) सौर ऊर्जा को बढ़ाने के लिए अपने सभी परिसरों को सौर ऊर्जा संयंत्र से लैस कर रही है। इसमें मेट्रो स्टेशन, डिपो, पार्किग के साथ मेट्रो की अन्य इमारतें शामिल हैं। डीएमआरसी ने वर्ष 2021 तक 50 मेगावॉट सौर ऊर्जा उत्पादन का लक्ष्य रखा है। यूनएनएफसीसीसी ने इसे स्माल स्केल कैटेगरी में जगह दी है। इस वर्ग में 15 मेगवॉट सौर ऊर्जा उत्पादन की क्षमता हासिल कर चुकी संस्थाओं को रखा गया है।

डीएमआरसी अब 14.983 मेगवॉट सौर ऊर्जा की क्षमता वाले संयंत्रों को अपने परिसरों में स्थापित कर चुकी है। इससे मेट्रो को प्रतिवर्ष 19,687 मेगावॉट ऑवर सौर ऊर्जा मिलेगी। डीएमआरसी सौर ऊर्जा से मेट्रो चलाने पर काम कर रही है। इसके लिए मेट्रो ने मध्य प्रदेश के रीवा सौर ऊर्जा संयंत्र से 250 मेगवॉटा बिजली खरीदी है। डीएमआरसी के यह बिजली ग्रिड के जरिए मिलेगी।

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