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बहुजन समाज पार्टी की अध्यक्ष मायावती ने तीन तलाक विधेयक के वर्तमान स्वरूप को अनुचित मानते हुए बदलाव की पैरोकारी की है। उन्होंने कहा कि तीन तलाक पर प्रस्तुत विधेयक को मौजूदा स्वरूप में ही पारित कर दिया तो मुस्लिम महिलाएं दोहरे अत्याचार का शिकार होंगी। विधेयक में सजा का प्रावधान तलाकशुदा महिलाओं के लिए नई समस्याएं पैदा करेगा। तीन तलाक जैसे मुद्दे पर मोदी सरकार जल्दबाजी न करके व्यापक विचार विमर्श करें। राज्यसभा में विधेयक को प्रवर समिति को सौंपने की पैरोकारी करते हुए उन्हेंने कहा कि सरकार की जल्दबाजी से उनकी नीयत में खोट नजर आता है।